कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकवादी हमले ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया है। एक तरफ जहां सरकार इस हमले की कड़ी निंदा कर रही है, वहीं दूसरी ओर बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने इस हमले पर एक बड़ा और कड़ा बयान दिया है। उनका कहना है कि यह घटना न केवल हिंदुओं के लिए, बल्कि पूरे देश के लिए एक बड़ा दुर्भाग्य है। उन्होंने आतंकवादियों के द्वारा की गई इस हिंसा पर तीखा हमला किया और हिंदुओं के लिए आने वाली चुनौतियों पर भी प्रकाश डाला।
पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने कहा कि पहलगाम में हुई इस दिल दहला देने वाली घटना में आतंकवादियों ने सिर्फ एक सवाल पूछा, “क्या तुम हिंदू हो?” और फिर उसके बाद बिना किसी हिचकिचाहट के गोली चला दी। उनका कहना था कि यह इस देश के लिए एक बड़ा दुर्भाग्य है कि अब हिंदू होना भी खतरे में पड़ गया है। यह घटना इस सदी की सबसे निंदनीय घटना है, और हम सबको यह समझने की जरूरत है कि हिंदू होना अब हमारे लिए सबसे बड़ी चुनौती बन चुका है। शास्त्री जी ने कहा कि हमें इस स्थिति में ईंट का जवाब पत्थर से देना होगा और हम सभी को एकजुट होकर इस आतंकवाद का मुकाबला करना होगा।
शास्त्री जी ने यह भी कहा कि आतंकवादी हमले में न तो आतंकवादियों ने जाति पूछी, न ही उन्होंने समाज के अन्य वर्गों के बारे में कुछ पूछा। केवल एक सवाल पूछा गया था, “क्या तुम हिंदू हो?” और इसके बाद निर्दोष लोगों को मार दिया गया। पंडित जी ने यह सवाल भी उठाया कि जब हिंदू समाज को इस प्रकार के हमलों का सामना करना पड़ रहा है, तो क्या हमें अब जागने का समय नहीं आ गया है? उन्होंने कहा कि हिंदू समाज को अब एकजुट होना पड़ेगा, नहीं तो हमें इतिहास कभी माफ नहीं करेगा।
बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर ने आतंकवाद को एक अंतरराष्ट्रीय मुद्दा बताते हुए कहा, “कौन कहता है कि आतंकवाद का कोई मजहब नहीं होता?” पहलगाम में जो हुआ, उससे साफ है कि आतंकवाद एक खतरनाक विचारधारा है, जो किसी भी धर्म या मजहब से संबंधित नहीं है। यह केवल एक बर्बरता है जो मानवता के खिलाफ है। उन्होंने यह भी कहा कि पाकिस्तान से उम्मीद नहीं की जा सकती कि वह सुधरेगा, क्योंकि आतंकवाद को बढ़ावा देने में वह किसी से पीछे नहीं है। अब हमें अपनी ताकत बढ़ानी होगी, और शस्त्र और शास्त्र दोनों को अपनाते हुए अपनी सुरक्षा को मजबूत करना होगा।
पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने देशवासियों से अपील की कि वे अब डर के बजाय अपनी एकता को मजबूत करें। उन्होंने कहा कि अगर हम अब भी नहीं जागे, तो फिर कभी नहीं जागेंगे। अब समय आ गया है कि हिंदू समाज अपनी शक्ति और संकल्प को और अधिक दृढ़ बनाए और आतंकवाद के खिलाफ एक ठोस कदम उठाए। उन्होंने यह भी कहा कि हमें अपनी संस्कृति और सभ्यता की रक्षा करनी होगी, और इसके लिए हमें शस्त्र और शास्त्र दोनों का समान रूप से पालन करना होगा।





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