कल्पना कीजिए — एक हड़ताल से गूंजता प्लांट… नाराज़ मजदूर… ठहरे हुए पहिए… और फिर अचानक, एक ऐसी घोषणा जो सबका भविष्य बदल सकती है।
हां, हम बात कर रहे हैं दुनिया की टेक्नोलॉजी की दिग्गज कंपनी सैमसंग की, जो अब भारत के एक राज्य में 1000 करोड़ रुपये का भारी-भरकम निवेश करने जा रही है। सवाल ये है कि ये निवेश सिर्फ पैसे का खेल है या फिर सैकड़ों युवाओं के लिए नए सपनों का पुल? आइए जानते हैं, इस बड़े फैसले के पीछे की पूरी कहानी…
दक्षिण कोरिया की प्रसिद्ध इलेक्ट्रॉनिक्स कंपनी सैमसंग ने तमिलनाडु के चेन्नई के नजदीक स्थित श्रीपेरुम्बुदुर प्लांट में 1000 करोड़ रुपये के निवेश का ऐलान कर दिया है। खास बात यह है कि यह फैसला तब आया है जब कुछ ही महीने पहले इसी प्लांट में कर्मचारियों ने यूनियन मान्यता, काम के घंटे सुधार और वेतन वृद्धि की मांगों को लेकर CITU (सेंटर ऑफ इंडियन ट्रेड यूनियंस) के बैनर तले ज़ोरदार हड़ताल की थी। उस समय माहौल गर्म था, लेकिन आज वही प्लांट एक नई ऊर्जा और संभावनाओं के साथ चर्चा में आ गया है। तमिलनाडु के उद्योग मंत्री डॉ. टीआरबी राजा ने सोशल मीडिया पर इस बड़े निवेश की पुष्टि करते हुए कहा कि इससे 100 से अधिक नई नौकरियों का सृजन होगा, जो स्थानीय युवाओं के लिए एक सुनहरा अवसर साबित हो सकता है।
श्रीपेरुम्बुदुर का यह सैमसंग प्लांट सिर्फ एक फैक्ट्री नहीं, बल्कि एक प्रोडक्शन पॉवरहाउस है। यहां पर रेफ्रिजरेटर, वॉशिंग मशीन, टेलीविजन जैसे रोजमर्रा के इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों का बड़े पैमाने पर निर्माण होता है। वित्त वर्ष 2022-23 में इस प्लांट से ही 12 बिलियन अमेरिकी डॉलर (करीब 1 लाख करोड़ रुपये) के उत्पादों की बिक्री दर्ज की गई थी। भारत में सैमसंग की कुल बिक्री में इस प्लांट का योगदान लगभग 20% रहा है। वर्तमान में यहां 2,000 से ज्यादा कर्मचारी कार्यरत हैं, और अब नए निवेश के साथ रोजगार के नए अवसर खुलने की पूरी संभावना है।
तमिलनाडु आज देश का औद्योगिक सिरमौर बन चुका है। मई 2021 से मार्च 2025 के बीच, राज्य ने 10.14 लाख करोड़ रुपये का निवेश आकर्षित कर लिया है, जिससे 32 लाख से ज्यादा नौकरियों का सृजन हुआ है। आज तमिलनाडु में 31,517 मैन्युफैक्चरिंग यूनिट्स हैं — जो कि भारत में सबसे अधिक है। महाराष्ट्र इस दौड़ में दूसरे नंबर पर है, जहां 20,739 यूनिट्स हैं। ऑटोमोबाइल, सेमीकंडक्टर और टेक्निकल टेक्सटाइल जैसे सेक्टर्स में तमिलनाडु का वर्चस्व लगातार बढ़ता जा रहा है, और सैमसंग का नया निवेश इस सफर को और रफ्तार देने वाला साबित हो सकता है।
श्रीपेरुम्बुदुर में कुछ महीने पहले जो हालात बने थे, वे किसी भी निवेशक के लिए चिंता का सबब हो सकते थे। हड़ताल के चलते प्लांट का संचालन प्रभावित हुआ, कर्मचारी अपनी मांगों को लेकर अडिग रहे। परंतु कंपनी और राज्य सरकार के बीच हुए बातचीत और समाधान ने साबित कर दिया कि संवाद और सुधार से ही विकास का रास्ता निकलता है। अब जब सैमसंग ने इतनी बड़ी निवेश योजना सामने रखी है, तो यह तमिलनाडु के श्रमिकों के भरोसे और मेहनत का भी सम्मान है। साथ ही, इससे देश में विदेशी निवेशकों का भरोसा और मजबूत हुआ है।






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