मोहन यादव कैबिनेट: सोमवार को मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव की कैबिनेट में 28 मंत्रियों ने शपथ ली। एमपी कैबिनेट के नए मंत्रियों की शिक्षा और संपत्ति का विवरण जानने के लिए देखें।
मध्य प्रदेश में मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव की कैबिनेट में शामिल एक मंत्री मैट्रिक तक भी नहीं पढ़े हैं. इसी तरह 7 मंत्रियों की एजुकेशन ग्रेजुएशन से कम है. वहीं राज्य के सबसे अमीर एमएलए को भी कैबिनेट में जगह मिली है. इस बार 70 साल से अधिक उम्र का कोई विधायक मंत्री नहीं बना है.
कितने पढ़े-लिखे हैं मोहन यादव कैबिनेट के मंत्री?
मध्य प्रदेश के नए मंत्रियों की शिक्षा से संबंधित जानकारी को देखते हैं। सबसे पहले हम चर्चा करेंगे कैबिनेट मंत्री एदल सिंह कंसाना की, जो मध्यप्रदेश के सबसे कम पढ़े-लिखे मंत्री हैं। चुनावी शपथ पत्र के मुताबिक, सुमावली सीट से विधायक बने एदल सिंह कंसाना केवल आठवीं कक्षा के पास हैं। उनकी संपत्ति 2 करोड़ 27 लाख है। इसके साथ ही, चांदला सीट से विधायक दिलीप अहिरवार केवल 10वीं कक्षा के पास हैं। इछावर के करण सिंह वर्मा, ग्वालियर के प्रद्युम्न सिंह तोमर और नारायण सिंह कुशवाहा, कोतमा के दिलीप जायसवाल तथा ब्यावरा के नारायण सिंह पंवार 12वीं तक पढ़े हैं। डॉ. मोहन यादव के कैबिनेट में शामिल 12 मंत्री ग्रेजुएट हैं और 9 पोस्ट ग्रेजुएट हैं।
सबसे अमीर चैतन्य कश्यप
मंत्रियों की संपत्ति के मामले में रतलाम के विधायक चैतन्य कश्यप सबसे ऊपर हैं। व्यक्तिगत संपत्ति के पहलू पर, रतलाम सिटी से बीजेपी के टिकट पर जीते चैतन्य कश्यप पूरे प्रदेश में सबसे शीर्ष पर हैं। चुनावी शपथ पत्र में बीजेपी उम्मीदवार चैतन्य कश्यप ने अपनी निजी चल-अचल संपत्ति को 296 करोड़ रुपए बताया था। वे अब मध्य प्रदेश के सबसे धनी विधायक और मंत्री बन चुके हैं।सबसे धनी मंत्रियों की सूची में दूसरे स्थान पर गोविंद राजपूत (14 करोड़) और तीसरे स्थान पर कृष्णा गौर (10 करोड़) हैं। सरकार में युवा और अनुभव का मेल बनाए रखने की कोशिश भी की गई है। प्रतिमा बागरी केवल 35 साल की हैं, जबकि सबसे वृद्ध तुलसी सिलावट और करण सिंह वर्मा हैं। इन दोनों की आयु 68 साल है।