जिला प्रशासन एवं जिला पंचायत सीईओ की छवि को धूमिल किया जा रहा है, ग्राम पंचायत हटवा निर्भयनाथ सचिव की मनमानी
हनुमना मऊगंज खबर मध्य प्रदेश के मऊगंज जिले के हनुमना जनपद पंचायत के अंतर्गत शासन द्वारा लगातार ग्राम पंचायतो में तरह-तरह की योजनाएं लागू करके सर्व सुविधायुक्त ग्राम पंचायत बनाने की दिशा में निरंतर प्रयास किया जा रहे हैं चाहे वह नाली पुल सड़क पानी स्वच्छता का ही हो किंतु इस बीच ग्राम पंचायत के सरपंच और सचिव एवं जिम्मेदार की मिली भगत से तरह-तरह के नए भ्रष्टाचार के माध्यम से सरकारी योजनाओं का गला घोट रहे हैं मामला जिला हनुमना जनपद के ग्राम पंचायत ग्राम पंचायत हटवा निर्भयनाथ का है जहां सचिव व सरपंच द्वारा अजीबोगरीब घोटाला करके शासकीय राशि हड़पने का प्रयास किया गया है ग्राम पंचायत में बने तालाब में जहां सफाई व गहरीकरण के लिए राशि जारी की गई है वहीं सरपंच सचिव द्वारा पूरी राशि निकाल ली गई और तालाब में पानी भरा हुआ है सफाई के नाम पर एक तिनका नहीं उठाया गया तालाब में पानी होने के बावजूद फर्जी तरीके से मास्टर बिल लगाकर राशि निकाल ली गई ग्राम पंचायत के सरपंच एवं सचिव का गठ जोड़ ऐसा चला की मऊगंज जिले में बैठे प्रशासनिक अधिकारी एवं सीईओ ग्राम पंचायत में हुए विकास को नहीं समझ पा रहे हैं किंतु अब जब गर्मी का महीना है शासन के तरफ से पानी की व्यवस्था करने के लिए निर्देश दिया गया है लेकिन पानी की व्यवस्था के नाम पर जमकर लीपा पोती की जा रही है ग्रामीणों को पानी नहीं दिया जा रहा है इसके नाम पर मोटी रकम निकल जा रही है। वही हटवा निर्भयनाथ ग्राम पंचायत में जमकर भ्रष्टाचार किया गया है एवं पैसा पानी की तरह बहाया गया है एवं कमीशन का भेट चढ़ गया है। उल्लेखनीय है कि पंच परमेश्वर योजना के तहत चबूतरा निर्माण अलोपिन मंदिर के पास किया गया है।जिसमें निर्माण कर में सरपंच सचिव एवं जनपद के जिम्मेदार की मिली भगत से लीपा पोती की गई है। वही इंजीनियर को कमीशन देकर पैसा निकाला गया है वही कागजों में ही सीमित रह गया है बात की जाए पुलिया निर्माण ट्रांसफार्मर के पास हवा प्लांट में भी किया गया है।इसमें भी जमकर लीपापोती की गई जांच की जाए तो भ्रष्टाचार सामने आ जाएगा। नाली निर्माण आदिवासी प्लांट में किया गया है। कार्यालय व्यय एवं सामग्री क्रय के नाम पर भी गोलमाल किया गया है। वही ग्राम पंचायत में ग्रामीणों को सचिवनहीं मिलते हैं पंचायत भवन में कभी-कभी मिलते हैं जिससे ग्रामीण इधर से उधर भटकते नजर आते हैं।ग्राम वासियों की मांग की गई है इस ग्राम पंचायत की जांच कर दोषी पर कार्यवाही की जाए।
मनरेगा में मनमानी
ग्रामीणों द्वारा आरोप लगाया गया है कि कई बार सचिव और सरपंच मनमानी तरीके से अपने चेहेतो का मास्टर में नाम जोड़कर राशि आहरित की गई है जबकि काम करने वाले मजदूरों का नाम नहीं जोड़ा गया है कुछ जुड़े मजदूरों का नाम मास्टर में जीरो कर दिया गया है ज्यादातर मजदूरों का पैसा जीरो करके व्यक्ति विशेष के खाते में ज्यादा से ज्यादा भुगतान कराया गया ग्राम पंचायत से सचिव गायब रहते हैं ।बिना किसी सूचना के सचिव ग्राम पंचायत से गायब रहते हैं कई राशि निकाल ली गई किंतु अब तक कोई कार्य नहीं किया गया जांच की मांग की गई है।सरपंच सचिव ग्राम पंचायत से अनुपस्थित रहते हैं बड़े स्तर से भ्रष्टाचार किया गया है राशि निकाल ली जाती है कोई जांच नहीं होती।