दिल्ली में आयुष्मान भारत योजना को हरी झंडी दिखा दी गई है, कैबिनेट की पहली ही बैठक में सीएम रेखा गुप्ता ने यह बड़ा फैसला लिया। उनके इस एक फैसले के बाद ही अब सरकार एक्शन मोड में आ चुकी है, पूरी कोशिश है कि जल्द से जल्द दिल्ली के लोगों को आयुष्मान योजना का फायदा पहुंचे। इसी कड़ी में अब खबर है कि राजधानी में अधिकारियों की ट्रेनिंग करवाई जाएगी, उन्हें योजना से जुड़ी कई चीजें सिखाई जाएंगी।
दिल्ली में कैसे लागू होगी आयुष्मान योजना?
खास ध्यान उन लोगों की ट्रेनिंग पर दिया जा रहा है जो लाभार्थी को गोल्डन कार्ड देने वाले हैं। इस आयुष्मान योजना में गोल्डन कार्ड की सबसे ज्यादा अहमियत है, ऐसे में सरकार यहां किसी भी तरह की चूक को बर्दाश्त नहीं कर सकती है। वैसे सरकार इस समय एक और बड़ा काम कर रही है, डेटाबेस बनाया जा रहा है जिससे पता चल सके कि दिल्ली में कितने लोगों तक असल में आयुष्मान योजना का फायदा पहुंचने वाला है।
आयुष्मान से कितने लोगों को फायदा?
एक अनुमान जरूर लगाया गया है कि दिल्ली के 6.54 गरीब परिवारों को पांच लाख रुपये तक हेल्थ कवर मिलेगा, वहीं 70 साल तक की उम्र के 4.5 लाख परिवारों को भी इस योजना का हिस्सा बनाया जाएगा। अब दिल्ली की बीजेपी सरकार के लिए यह योजना इसलिए भी मायने रखती है क्योंकि पिछले कई सालों से आप की सरकार इस आयुष्यान भारत को राजधानी में लागू ही नहीं होने दे रही थी। तर्क दिया जा रहा था कि उनकी योजना ज्यादा बेहतर है, वो ज्यादा लोगों को लाभ पहुंचाती है।
दो तरीके जिससे लागू होगी आयुष्मान योजना
लेकिन अब जब दिल्ली में बीजेपी सरकार है, सबसे पहले आयुष्मान को ही लागू करने पर जोर दिया गया है। इस योजना में आशा और आंगनवाड़ी कर्मचारियों को भी शामिल किया जाएगा। अब जानकार बता रहे हैं कि दिल्ली सरकार दो तरीके से आयुष्मान भारत को राजधानी में लागू कर सकती है। पहला तरीका तो ट्रस्ट मॉडल है जहां पर राज्य सरकार की स्टेट अथॉरिटी ही सीधे अस्पताल से सर्विस खरीदती है, दूसरा तरीका इंश्यारेस मॉडल होता है जहां पर किसी भी बीमा कंपनी को यह जिम्मेदारी सौंपी जाती है। अभी के लिए इस एक योजना पर राजनीति भी शुरू हो चुकी है, और जानने के लिए